कम रोशनी में अच्छी फोटो खींचना हर किसी के लिए चुनौती होती है. फोटो अक्सर डार्क या धुंधली (Blurry) नजर आती है. लेकिन घबराने की बात नहीं है! आप अपने कैमरे के Aperture Settings को एडजस्ट करके कम रोशनी में भी शानदार तस्वीरें ले सकते हैं.
आइए सबसे पहले समझते हैं कि एपर्चर (Aperture) क्या होता है?
Aperture आपके कैमरे के लेंस में वो छेद होता है, जिससे रोशनी सेंसर तक पहुंचती है. यह एक डायफ्राम (Diaphragm) की तरह काम करता है, जो खुलता और बंद हो सकता है. एपर्चर का आकार जितना बड़ा होता है, उतनी ही ज्यादा रोशनी सेंसर तक पहुंच पाती है.
अब जानते हैं कि कम रोशनी में बेहतरीन फोटो लेने के लिए एपर्चर का इस्तेमाल कैसे करें:
1. एपर्चर वैल्यू को समझें (Understanding Aperture Value):
एपर्चर को f-number (f-संख्या) से दर्शाया जाता है. f-number जितना छोटा होता है, एपर्चर उतना ही ज्यादा खुलता है और ज्यादा रोशनी अंदर आती है. उदाहरण के लिए, f/1.8 एक वाइड एपर्चर है, जबकि f/16 एक संकरा एपर्चर है.
2. कम रोशनी में वाइड एपर्चर का इस्तेमाल करें (Use Wide Aperture in Low Light):
जैसा कि हमने जाना, कम रोशनी में ज्यादा रोशनी की जरूरत होती है. इसलिए, कम रोशनी वाली परिस्थिति में फोटो खींचते समय वाइड एपर्चर (छोटा f-number) का इस्तेमाल करें. इससे ज्यादा रोशनी सेंसर तक पहुंच पाएगी और आपकी फोटो ज्यादा ब्राइट (Bright) और साफ आएगी.
3. सावधानी: डेप्थ ऑफ फील्ड (Depth of Field) कम हो जाता है (Beware: Shallow Depth of Field):
वाइड एपर्चर का इस्तेमाल करने का एक फायदा है तो एक नुकसान भी है. वाइड एपर्चर से आने वाली ज्यादा रोशनी बैकग्राउंड को ब्लर कर देती है, जिससे आपकी फोटो में सिर्फ फोकस में रखा हुआ सबजेक्ट (Subject) ही शार्प नजर आता है, बाकी सब कुछ धुंधला हो जाता है. इसे डेप्थ ऑफ फील्ड (DOF) कम होना कहते हैं.
कम रोशनी में कई बार यही चीज फायदेमंद भी हो सकती है. उदाहरण के लिए, रात में किसी पोर्ट्रेट फोटो में अगर आप सिर्फ सबजेक्ट को ही शार्प दिखाना चाहते हैं और बैकग्राउंड को ब्लर करना चाहते हैं, तो वाइड एपर्चर आपके लिए बेहतर विकल्प है.
लेकिन, अगर आप किसी लैंडस्केप फोटो में सब कुछ शार्प दिखाना चाहते हैं, तो वाइड एपर्चर का इस्तेमाल ठीक नहीं रहेगा.
4. ISO को एडजस्ट करना न भूलें (Don’t Forget to Adjust ISO):
एपर्चर के अलावा, आप कम रोशनी में फोटो खींचते समय ISO सेटिंग को भी एडजस्ट कर सकते हैं. ISO कैमरे के सेंसर की रोशनी के प्रति संवेदनशीलता (Sensitivity) को दर्शाता है. ISO जितना ज्यादा होता है, सेंसर उतना ही ज्यादा संवेदनशील हो जाता है और कम रोशनी में भी फोटो खींच पाता है.
लेकिन, ISO को बहुत ज्यादा बढ़ाने से फोटो में ग्रेन (Grain) आने लगता है, जिसे नॉइज़ (Noise) भी कहते हैं. नॉइज़ की वजह से फोटो खराब लगती है.
इसलिए, कम रोशनी में फोटो खींचते समय सबसे पहले वाइड एपर्चर का इस्तेमाल करें. अगर फिर भी फोटो डार्क आ रही है, तो थोड़ा-थोड़ा करके ISO बढ़ाएं. लेकिन ध्यान रखें कि नॉइज़ की मात्रा ज्यादा न हो जाए.